भारत में ‘क्रिप्टोकरेंसी’। (‘Cryptocurrency’ in India.)

Cryptocurrency in India

भारत में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर लोगों में उत्साह है और बड़े व्यापारी और निवेशक इसमें निवेश भी करना चाहतें हैं, क्रिप्टोकरेंसी वर्त्तमान में भारत में सफल रहा है और खुदरा निवेशक भी अपने उत्साह के साथ आगे निकल कर आ रहें हैं, भारत में 10 मिलियन से अधिक क्रिप्टो निवेशक होने का अनुमान है और यह संख्या हर दिन बढ़ रही है। लेकिन हमारे देश की सरकार के द्वारा क्रिप्टोकरेंसी का उपयोग करना अवैध घोषित कर दिया गया था और ‘भारतीय रिज़र्व बैंक’ के द्वारा भी सभी बैंको को यह निर्देश दिया गया की ‘क्रिप्टोकरेंसी में काम करने वाले ग्राहकों को बैंकिग सेवा तक पहुंच की अनुमति नहीं दी जाएगी’।

सोशल मीडिया: 21वीं सदी में क्रांति।(Social Media :The Revolution in 21st Century.)

Social Media Thumbnail

‘सामाजिक मीडिया’ (social media) आज के इंटरनेट का एक अभिन्न अंग है जो दुनिया में एक अरब से अधिक लोगों द्वारा उपयोग किया जाता है। यह एक ऐसा ऑनलाइन मंच है जहाँ सामाजिक मीडिया उपयोग करने वाले लोग अपनी पहुँच और पहचान को समाज में विस्तार करतें हैं और उनके द्वारा बनाये गए अपने प्रोफाइल (निजी सूचनाएं प्रदान करना) को सामाजिक मीडिया (फेसबुक, ट्विटर, व्हाट्सप्प, इंस्टाग्राम) पर प्रसारित करतें हैं, जिससे वह समाज के लोगों के साथ और विस्तार से जुड़ सकें और उनसे बात कर सकें।

कोरोनावायरस:- एक महामारी। (Coronavirus:- The Pandemic.)

coronavirus in city

कोरोनावायरस विषाणुओ (वायरस) का समूह है, जिसे अपनी संख्या को आगे बढ़ाने के लिए जीवित शरीर की कोशिकाओं का सहारा लेना पड़ता है यह एक जूनोटिक बीमारी है जो जानवरों से इंसानों में फैलता है और फिर इंसानों से इंसानों में संक्रमित होता जाता है जो कि इंसानों में सामान्य जुकाम से लेकर स्वास तंत्र की गंभीर समस्या पैदा कर सकता है, कोरोनावायरस आमतौर पर हमारे अंदर फेफड़ों को नुकसान पहुंचाता है जिससे व्यक्ति को सांस लेने में दिक्कत होती है, और यह हमारे इम्यून सिस्टम को भी नुकसान पहुंचाती है जिसके कारण इंसान की मौत भी हो सकती है। कोरोनावायरस के वायरस का नाम ‘सीवियर एक्यूट रेस्पिरेट्री सिंड्रोम’ है जिसे हम (सार्स कोव-2)  कहते हैं और ‘विश्व स्वास्थ्य संगठन’ के द्वारा इस बीमारी का नाम “कोविड-19” (कोरोनावायरस डिजीज 2019) रखा गया है।